मुख्यमंत्री की कड़ी चेतावनी: अवैध डंकी रूट और बाल अपराधों पर सरकार का बड़ा फैसला

मुख्यमंत्री की कड़ी चेतावनी: अवैध डंकी रूट और बाल अपराधों पर सरकार का बड़ा फैसला

हरियाणा के मुख्यमंत्री ने हाल ही में एक बैठक के दौरान कई अहम आदेश दिए हैं, जिनका उद्देश्य राज्य में अवैध गतिविधियों, विशेष रूप से डंकी रूट और बाल अपराधों पर अंकुश लगाना है। इस बैठक में मुख्यमंत्री ने पुलिस अधीक्षकों और अन्य प्रशासनिक अधिकारियों को निर्देश दिए, ताकि राज्य में कानून व्यवस्था को बनाए रखा जा सके और समाज में होने वाली कई जघन्य घटनाओं की रोकथाम की जा सके।

बाल अपराधों से सुरक्षा: पुलिस अधिकारियों को विशेष निर्देश

मुख्यमंत्री ने सभी पुलिस अधीक्षकों को आदेश दिया कि प्रत्येक थाने में एक बाल कल्याण अधिकारी नियुक्त किया जाए। इस अधिकारी को किशोरों और बच्चों के खिलाफ लैंगिक अपराधों से बचाव के लिए विशेष प्रशिक्षण दिया जाएगा। इस कदम का उद्देश्य बाल अपराधों की घटनाओं पर नियंत्रण पाना है, जो समाज में दिन-प्रतिदिन बढ़ रही हैं। इसके अलावा, मुख्यमंत्री ने बाल विवाह को रोकने के लिए उपायुक्तों और पुलिस अधीक्षकों को जिम्मेदारी सौंपते हुए, इसके खिलाफ कठोर कदम उठाने का निर्देश दिया है।

बाल श्रम और टास्क फोर्स की प्रभावशीलता

बाल श्रम की रोकथाम के लिए पहले से ही एक टास्क फोर्स का गठन किया गया है, जिसकी अध्यक्षता जिला मजिस्ट्रेट करते हैं। मुख्यमंत्री ने इस टास्क फोर्स को और अधिक प्रभावी बनाने की आवश्यकता पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि इस टास्क फोर्स को तेज और सटीक कार्रवाई करनी चाहिए, ताकि बाल श्रम से जुड़े मामलों में तत्काल समाधान हो सके। यह पहल राज्य में बच्चों के अधिकारों की रक्षा और उनके बेहतर भविष्य की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकती है।

स्वच्छता अभियान और ई-ऑफिस की ओर कदम

मुख्यमंत्री ने 31 जनवरी तक चल रहे विशेष स्वच्छता अभियान को सफल बनाने के लिए उपायुक्तों और पुलिस अधीक्षकों को निर्देशित किया। इसके तहत, हर सरकारी कार्यालय की सफाई सुनिश्चित की जाएगी, और इसके लिए हर विभाग एक नोडल अधिकारी नियुक्त करेगा। यह नोडल अधिकारी केंद्रीय निगरानी पोर्टल पर डाटा अपडेट करेगा, जिससे अभियान की प्रगति की निगरानी की जा सके।

इसके साथ ही, मुख्यमंत्री ने मार्च 2025 तक राज्य में ई-ऑफिस प्रणाली को लागू करने की योजना भी बनाई है। इसका उद्देश्य प्रशासनिक कार्यों को अधिक प्रभावी और समय की बचत करने वाला बनाना है। ई-ऑफिस से कागजी कार्यवाही में कमी आएगी, जिससे सरकारी कार्यों में पारदर्शिता और गति बढ़ेगी।

डंकी रूट पर कड़ी कार्रवाई की योजना

मुख्यमंत्री ने राज्य में डंकी रूट के माध्यम से युवाओं को विदेश भेजने वालों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करने के निर्देश दिए हैं। डंकी रूट के माध्यम से विदेश भेजने वाले एजेंटों की पहचान कर उन्हें सख्त सजा दिलवाने के प्रयास किए जाएंगे, ताकि युवाओं के भविष्य के साथ कोई समझौता न किया जा सके। मुख्यमंत्री ने चिट फंड जैसी धोखाधड़ी योजनाओं पर भी सख्त कदम उठाने का आदेश दिया।

गांवों में रात्रि ठहराव का आदेश

मुख्यमंत्री ने सभी उपायुक्तों और पुलिस अधीक्षकों को आदेश दिया कि वे गांवों में रात्रि ठहराव करें। इस पहल का उद्देश्य ग्रामीण क्षेत्रों में प्रशासनिक अधिकारियों का विश्वास बनाना और लोगों की समस्याओं का समाधान करना है। मुख्यमंत्री ने कहा कि हरियाणा के हर व्यक्ति को न्याय दिलवाना और उनके कष्टों का समाधान करना सरकार की प्राथमिकता है।

प्रशासनिक अधिकारियों की जिम्मेदारी

इस बैठक में मुख्यमंत्री के साथ मुख्य सचिव डॉ. विवेक जोशी, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव श्री राजेश खुल्लर, पुलिस महानिदेशक श्री शत्रुजीत कपूर सहित अन्य वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद थे। मुख्यमंत्री ने अधिकारियों से यह सुनिश्चित करने को कहा कि किसी भी साधनहीन या गरीब परिवार को उनके अधिकारों से वंचित नहीं किया जाएगा और उनकी समस्याओं का समाधान किया जाएगा।

मुख्यमंत्री की यह पहल स्पष्ट रूप से यह संदेश देती है कि राज्य सरकार कानून व्यवस्था को मजबूत बनाने और समाज के कमजोर वर्ग की रक्षा के लिए पूरी तरह प्रतिबद्ध है। विशेष रूप से, बाल अपराधों की रोकथाम, डंकी रूट से विदेश भेजने वाले एजेंटों के खिलाफ कार्रवाई और स्वच्छता अभियान को सफल बनाने के लिए जो कदम उठाए गए हैं, वे राज्य के नागरिकों के हित में हैं। इन निर्देशों से यह उम्मीद जताई जा रही है कि हरियाणा में कानून व्यवस्था की स्थिति में सुधार होगा और राज्य के विकास की दिशा को एक नई गति मिलेगी।

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