हरियाणा एंटी करप्शन ब्यूरो का बड़ा एक्शन, SDM के रीडर को रिश्वत लेते रंगे हाथों किया गिरफ्तार
हरियाणा एंटी करप्शन ब्यूरो ने की बड़ी कार्यवाही
हरियाणा एंटी करप्शन ब्यूरो (ACB) की करनाल टीम ने एक और सफल ऑपरेशन को अंजाम दिया है, जिसमें घरौंडा करनाल एसडीएम के रीडर अशोक कुमार को रिश्वत लेते हुए रंगे हाथों गिरफ्तार किया गया। यह कार्रवाई एक शिकायत के आधार पर की गई, जिसमें रीडर द्वारा पेरोल रिहाई आदेश की प्रति देने के बदले ₹3000 की रिश्वत की मांग की गई थी।
एंटी करप्शन ब्यूरो के अधिकारियों के अनुसार, यह कार्रवाई पूरी पारदर्शिता के साथ की गई और सभी आवश्यक सबूतों को इकठ्ठा किया गया है। इस मामले की जांच अब भी जारी है और आरोपी के खिलाफ करनाल के एंटी करप्शन ब्यूरो पुलिस स्टेशन में मामला दर्ज किया गया है।
शिकायतकर्ता की ओर से मिली सूचना
गिरफ्तारी की जानकारी देते हुए एंटी करप्शन ब्यूरो के प्रवक्ता ने बताया कि शिकायतकर्ता ने एसीबी को सूचित किया था कि रीडर अशोक कुमार, जो घरौंडा एसडीएम कार्यालय में कार्यरत है, शिकायतकर्ता के दोस्त के पिता के पेरोल रिहाई आदेश की प्रति देने के बदले ₹4000 की रिश्वत की मांग कर रहा है। इसके बाद एसीबी ने शिकायत की जांच शुरू की और आरोपी को पकड़ने के लिए योजना बनाई।
गिरफ्तारी और रंगे हाथों कार्रवाई
रेड के दौरान जब आरोपी अशोक कुमार शिकायतकर्ता से ₹4000 रिश्वत ले रहा था, तब एसीबी की टीम ने उसे रंगे हाथों पकड़ लिया। हालांकि, आरोपी ने मौके से अपनी गाड़ी में भागने की कोशिश की, लेकिन एसीबी की टीम ने उसका पीछा करते हुए उसे ताकिया मार्केट से गिरफ्तार कर लिया। आरोपी द्वारा रिश्वत की राशि को गंदे नाले में फेंक दिया गया था, लेकिन फिर भी एसीबी ने ₹3000 की रकम के साथ उसे गिरफ्तार कर लिया।
भ्रष्टाचार के खिलाफ एसीबी की मुहिम
इस कार्रवाई को लेकर एंटी करप्शन ब्यूरो के प्रवक्ता ने आमजन से अपील की है कि अगर कोई भी सरकारी अधिकारी या कर्मचारी रिश्वत की मांग करता है, तो तुरंत इसकी सूचना एसीबी के टोल फ्री नंबर 1800-180-2022 या 1064 पर दें। इसके अलावा, व्हाट्सएप नंबर 9417891064 पर भी शिकायत दर्ज करवाई जा सकती है। एसीबी द्वारा यह कदम राज्य में भ्रष्टाचार के खिलाफ चल रही मुहिम का हिस्सा है, ताकि सरकारी कामकाजी प्रक्रिया में पारदर्शिता और ईमानदारी बनी रहे।
हरियाणा एंटी करप्शन ब्यूरो द्वारा यह कार्रवाई भ्रष्टाचार के खिलाफ एक मजबूत संदेश भेजने के रूप में देखी जा सकती है। इससे यह स्पष्ट हो जाता है कि हरियाणा सरकार भ्रष्टाचार पर कड़ी निगरानी रख रही है और किसी भी सरकारी कर्मचारी या अधिकारी को रिश्वत लेने की छूट नहीं दी जाएगी। इस घटना ने एक बार फिर यह साबित कर दिया कि एसीबी भ्रष्टाचार के खिलाफ अपनी कड़ी कार्रवाई जारी रखेगी, और सभी नागरिकों को भ्रष्टाचार से लड़ने के लिए प्रेरित करेगी।